भारत के पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का 21 जुलाई को अचानक इस्तीफा देने के बाद से उनकी स्थिति राजनीतिक हलकों में चर्चा का केंद्र बनी हुई है। विपक्ष के कई नेता लगातार उनके ठिकाने के बारे में सवाल उठा रहे है और पूछ रहे हैं कि आखिर कहां हैं जगदीप धनखड़?
जबकि सत्तारूढ़ बीजेपी की तरफ से कोई स्पष्ट जानकारी नहीं आई।
पिछले महीने इस्तीफा देने के बाद से ही धनखड़ किसी भी सार्वजनिक कार्यक्रम में नजर नहीं आए और न ही मीडिया में उनका कोई बयान आया। कई सांसदों ने उनसे मिलने की कोशिश की और उनके निजी सचिव से समय मांगा, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला। जब एक मंत्री से पूछा गया कि धनखड़ कहां हैं, तो उन्होंने कहा कि वे उपराष्ट्रपति निवास पर मौजूद हैं। कुछ मीडिया रिपोर्ट में भी दावा किया गया था कि जगदीप धनखड़ उपराष्ट्रपति निवास पर ही हैं। लेकिन अब ये खबर आई है कि रिटायरमेंट के बाद जगदीप धनखड़ कैसे हैं और अपना समय कैसे बिता रहे हैं।
उपराष्ट्रपति के पद से इस्तीफा देने के बाद जगदीप धनखड़ फिलहाल कहां हैं? चल गया लोकेशन का पता
रिटायरमेंट के बाद क्या कर रहे हैं जगदीप धनखड़ ?
सूत्रों के मुताबिक इस्तीफे के बाद जगदीप धनखड़ योगाभ्यास और टेबल टेनिस में खुद को व्यस्त रख रहे हैं। पीटीआई की रिपोर्ट में कहा गया कि इस्तीफे के लगभग एक महीने बाद भी, जगदीप धनखड़ नियमित रूप से योग करते हैं और अपने वेल-विषर्स और स्टाफ के साथ टेबल टेनिस खेलते हैं। जगदीप धनखड़ खाली समय में हमेशा अपने स्टाफ के साथ टेबल टेनिस खेलते हैं।
जगदीप धनखड़ का अचानक इस्तीफा, योग और टेबल टेनिस में व्यस्त रहना और सार्वजनिक तौर पर अदृश्य होना राजनीतिक हलकों में बड़ी चर्चा का विषय बना हुआ है।
शहरी विकास मंत्रालय ने खोज लिया धनखड़ के लिए टाइप 8 बंगला
शहरी विकास मंत्रालय ने पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के लिए टाइप 8 बंगला रिजर्व कर लिया है। सूत्रों के मुताबिक जगदीप धनखड़ ने अभी तक अपने सरकारी आवास के लिए शहरी विकास मंत्रालय से संपर्क नहीं किया है। इसके बावजूद, मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले डायरेक्टर ऑफ एस्टेट ने 34 नंबर, एपीजे अब्दुल कलाम मार्ग पर टाइप 8 का बंगला खाली करवा लिया है। अगर धनखड़ को यह बंगला पसंद नहीं आता है, तो मंत्रालय उन्हें किसी अन्य बंगले का विकल्प भी प्रदान कर सकता है।
नियमों के मुताबिक पूर्व राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति और प्रधानमंत्री को लुटियन जोन में टाइप 8 का बंगला या उनके पैतृक स्थान पर 2 एकड़ भूमि दी जाती है। लेकिन धनखड़ की ओर से इस मामले में कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है, इसलिए स्थिति अभी स्पष्ट नहीं है।
सामान्य तौर पर, पूर्व मंत्री या सांसदों को पद से हटने के एक महीने के भीतर सरकारी आवास खाली करना होता है, हालांकि कुछ विशेष परिस्थितियों में इसे बढ़ाया जा सकता है। वहीं, उपराष्ट्रपति के पद से हटने के बाद केंद्र सरकार का शहरी विकास मंत्रालय उन्हें टाइप 8 बंगला आवंटित करता है। जगदीप धनखड़ का मामला अलग इसलिए है क्योंकि अब तक किसी उपराष्ट्रपति ने कार्यकाल समाप्त होने से पहले इस्तीफा नहीं दिया था।
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विपक्ष का सवाल- जगदीप धनखड़ के स्वास्थ्य पर जल्द दिया जाए अपडेट
धनखड़ के अचानक इस्तीफे ने सियासी हलकों में तरह-तरह के कयास और साजिश के सिद्धांतों को जन्म दिया। वे केवल तीसरे उपराष्ट्रपति हैं जिन्होंने अपने कार्यकाल को पूरा किए बिना इस्तीफा दिया, इससे पहले वीवी गिरी और आर. वेंकटरमण ऐसा कर चुके हैं। उनका अचानक राजसभा के मानसून सत्र के पहले दिन इस्तीफा देना राजनीतिक पर्यवेक्षकों के लिए सवाल खड़ा कर गया।
विपक्ष ने ध्यान दिलाया कि जगदीप धनखड़ के स्वास्थ्य संबंधी कारणों का हवाला देते हुए इस्तीफा देने के बाद से उनके बारे में कोई खबर नहीं आई। कांग्रेस नेताओं ने केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह से अपील की कि वे पूर्व उपराष्ट्रपति की सुरक्षा और स्वास्थ्य के बारे में जल्द से जल्द स्पष्ट जानकारी दें।
कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल ने कहा,
“21 जुलाई को हमारे उपराष्ट्रपति ने इस्तीफा दिया और अब अगस्त खत्म होने को है, और तब से हमें नहीं पता कि वे कहां हैं। उन्होंने कहा कि पहले दिन मैंने संपर्क किया तो उनका निजी सचिव बताया कि वे विश्राम कर रहे हैं। मैं ‘लापता उपराष्ट्रपति’ की बात पहले कभी नहीं सुनी।”
कांग्रेस केरल इकाई ने पोस्टर जारी कर उठाया सवाल
गुरुवार (21 अगस्त) को कांग्रेस की केरल इकाई ने पूर्व उपराष्ट्रपति की स्थिति पर सवाल उठाते हुए X (पूर्व ट्विटर) पर “Missing” पोस्टर जारी किया। पोस्टर में धनखड़ का नाम, उम्र और “Last Seen” (आखिरी बार देखे जाने की तारीख) लिखी गई थी।
इसके अलावा, लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने बुधवार (20 अगस्त) को पूछा कि धनखड़ “कहां छिपे हैं” और क्यों “पूरी तरह से चुप” हैं। उन्होंने कहा, “पूर्व उपराष्ट्रपति के इस्तीफा देने के पीछे एक कहानी है। अचानक जो व्यक्ति राजसभा में खुलकर बोलते थे, वे पूरी तरह से शांत हो गए। ये समय हमारे लिए चुनौतीपूर्ण है।”
CPI ने लिखा खत, जताई चिंता
राज्यसभा में CPI के नेता पी. सैंडोश कुमार ने धनखड़ को खत लिखकर उनके अचानक इस्तीफा और सार्वजनिक जीवन से गायब होने पर गंभीर चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए इस्तीफा अचानक आया और इससे संसद और जनता में चिंता उत्पन्न हुई।
उन्होंने कहा,
“जगदीप धनखड़ ने प्रेस से बात नहीं की, सार्वजनिक रूप से नहीं आए, और पूर्व निर्धारित कार्यक्रम भी रद्द कर दिए गए। ऐसी चुप्पी और खुद को पीछे हटाना चिंता बढ़ाता है।”
CPI नेता कुमार ने अपील की कि धनखड़ जल्दी से जल्दी संसद और जनता को आश्वस्त करें। उन्होंने कहा कि प्रक्रिया के तहत उनके उत्तराधिकारी का चुनाव चल रहा है, लेकिन खुद जगदीप धनखड़ की स्पष्टता और आश्वासन अफवाहों और अनुत्तरित सवालों को खत्म करेगा।
उपराष्ट्रपति चुनाव 2025
चुनाव आयोग ने घोषणा की है कि उपराष्ट्रपति चुनाव 9 सितंबर को होगा। नामांकन की अंतिम तिथि 21 अगस्त है और नाम वापस लेने की आखिरी तिथि 25 अगस्त।
एनडीए ने महाराष्ट्र के राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन को अपना उम्मीदवार बनाया है। विपक्ष ने पूर्व सुप्रीम कोर्ट के जज बी. सुदर्शन रेड्डी को अपना उम्मीदवार घोषित किया है।
जन सेवा भारत न्यूज़ चैनल सम्पादक श्री मुहीत चौधरी




